“ज़िन्दगी के मसले: नींदों का सफर और ख्वाबों की तलाश”

मसले दो ही थे उम्र भर हल ना हुए !
एक नींद पूरी नहीं हुई और !!
दूसरे ख्वाब मुक्कमल ना हुए !!!

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